जालंधर (न्यूज़ लिंकर्स ब्यूरों) : आम आदमी पार्टी के सुप्रीमों व दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल आज शाम तिहाड़ जेल में सरेंडर करेंगे। बता दे कि दिल्ली शराब नीति मामले में केजरीवाल की अंतरिम जमानत 1 जून को खत्म हो चुकी है। आपकों बता दे कि अरविन्द केजरीवाल को 21 मार्च को गिरफ्तार किया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने 10 मई को चुनाव प्रचार के लिए केजरीवाल को जमानत दी थी। वही केजरीवाल ने जमानत देने के लिए सुप्रीम कोर्ट का आभार जताया है। उन्होंने आज X पर लिखा- सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर मैं 21 दिन चुनाव प्रचार के लिए बाहर आया। इसके लिए सुप्रीम कोर्ट का बहुत बहुत आभार। केजरीवाल ने बताया कि वह तिहाड़ जाने के लिए आज दोपहर 3 बजे अपने घर से निकलेंगे। इसके बाद वह राजघाट जाकर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि देंगे। फिर कनॉट प्लेस स्थित हनुमान हनुमान मंदिर में दर्शन करेंगे। केजरीवाल हनुमान मंदिर के बाद आम आदमी पार्टी के ऑफिस जाएंगे। वहां पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं मिलेंगे जिसके बाद वह तिहाड़ जेल के लिए रवाना होंगे। केजरीवाल ने अपने पोस्ट में कहा कि जेल में मुझे आप सबकी चिंता रहेगी, आप खुश रहेंगे तो आपका केजरीवाल भी खुश रहेगा। गौरतलब है कि केजरीवाल ने मेडिकल ग्राउंड पर जमानत अवधि 7 दिन और बढ़ाने की मांग को लेकर राउज एवेन्यू कोर्ट में याचिका लगाई थी, जिस पर 1 जून को सुनवाई हुई। स्पेशल जज कावेरी बावेजा ने फैसला 5 जून तक के लिए सुरक्षित रख लिया है। केजरीवाल ने 7 दिन की जमानत मांगी थी, ताकि वह अपने मेडिकल टेस्ट करवा सकें। हालांकि, प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने उनकी अपील का विरोध किया। ED ने दावा किया कि केजरीवाल ने अपनी सेहत को लेकर झूठे बयान दिए हैं। उनका वजन 1 किलो बढ़ गया है, लेकिन वे झूठा दावा कर रहे हैं कि उनका वजन 7 किलो कम हो गया है। कोर्ट में ED का पक्ष रख रहे सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि केजरीवाल इतने दिनों से जेल से बाहर हैं। तब उन्होंने मेडिकल टेस्ट क्यों नहीं करवाए? मेडिकल टेस्ट करवाने के बजाय, वह यात्रा कर रहे थे, जबकि मेडिकल टेस्ट में एक घंटे से ज्यादा समय नहीं लगेगा। वही अरविंद केजरीवाल के वकील एन हरिहरन ने कोर्ट में कहा कि केजरीवाल को चुनाव प्रचार करने के लिए ही जमानत दी गई थी, क्योंकि आम आदमी पार्टी एक राष्ट्रीय पार्टी है। केजरीवाल 20 दिनों के लिए बाहर हैं। अगर उन्होंने चुनाव प्रचार नहीं किया होता तो आप कहते कि देखिए उन्होंने प्रचार नहीं किया और बीमार हो गए। इससे पहले केजरीवाल ने अपनी अंतरिम जमानत बढ़ाने की मांग सुप्रीम कोर्ट में की थी। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने 28 मई को केजरीवाल की अंतरिम जमानत पर तत्काल सुनवाई करने से इनकार कर दिया था। दिल्ली सीएम ने मेडिकल ग्राउंड पर एक जून तक मिली अंतरिम जमानत को 7 दिन बढ़ाने की मांग की थी। जस्टिस जेके माहेश्वरी और जस्टिस केवी विश्वनाथन की वेकेशन बेंच ने कहा कि अंतरिम जमानत बढ़ाने का फैसला CJI करेंगे, क्योंकि मुख्य मामले में केजरीवाल के खिलाफ फैसला सुरक्षित है। कोर्ट में आम आदमी पार्टी ने दलील दी थी कि गिरफ्तारी के बाद केजरीवाल का वजन 7 किलो कम हो गया है और उनका कीटोन लेवल हाई है, जो किसी गंभीर बीमारी का संकेत हो सकता है। इस पर कोर्ट ने कहा था- केजरीवाल को नियमित जमानत के लिए ट्रायल कोर्ट जाने की छूट दी गई थी, इसलिए याचिका स्वीकार नहीं की जा रही है। AAP ने यह भी कहा था कि डॉक्टरों ने केजरीवाल को पॉजिट्रॉन एमिशन टोमोग्राफी और कंप्यूटेड टोमोग्राफी (PET-CT) स्कैन और कुछ दूसरे मेडिकल टेस्ट कराने की सलाह दी थी, जिसके कारण उन्होंने अपनी अंतरिम जमानत बढ़ाने की मांग की है। जेल में रहते हुए उनका शुगर लेवल भी लगातार चर्चा का विषय बना हुआ था। केजरीवाल और उनकी पार्टी ने यह दावा भी किया था कि उन्हें इंसुलिन नहीं दी जा रही है। दिल्ली की लोकल कोर्ट ने 28 मई को केजरीवाल के खिलाफ ED की सप्लिमेंट्री चार्जशीट पर संज्ञान लेने के अपने आदेश को 4 जून तक सुरक्षित रख लिया है। ED ने 17 मई को राउज एवेन्यू कोर्ट में 18वीं सप्लिमेंट्री चार्जशीट दाखिल की थी, जिसमें केजरीवाल और AAP को आरोपी बनाया था।