बिपरजॉय चक्रवात कच्छ से 170KM दूर, रात 8 बजे टकरा सकता है, कच्छ-सौराष्ट्र में भारी बारिश, देश के 10 से अधिक राज्यों में पड़ेगा असर
बिपरजॉय चक्रवात से पहले पंजाब में दिखने लगा असर, देखें अपने ज़िलों का तापमान
जालंधर (न्यूज़ लिंकर्स ब्यूरों) : गुजरात के तटीय इलाकों की तरफ बढ़ रहा चक्रवात बिपरजॉय बेहद खतरनाक हो चुका है। मौसम विभाग के मुताबिक यह सौराष्ट्र-कच्छ की तरफ बढ़ रहा है। बताया जा रहा है कि यह आज शाम 8 बजे तक कच्छ के जखौ पोर्ट पहुंचेगा। इस दौरान हालात बेहद खराब हो सकते हैं। मौसम विभाग के मुताबिक चक्रवात बिपरजॉय फिलहाल जखौ से करीब 170 किमी और द्वारका से 210 किमी की दूरी पर है और हवाएं 125-135 किमी प्रति घंटे रफ्तार से चल रही हैं। मौसम विभाग के अनुसार गुजरात के अलावा 10 अन्य राज्यों में इस तूफान का असर देखा जा रहा है। इन राज्यों में राजस्थान, महाराष्ट्र, कर्नाटक, लक्षद्वीप, केरल, असम, अरुणाचल प्रदेश, मेघालय शामिल हैं। यहां के कई इलाकों में तेज हवाएं चल रही हैं और बारिश हो रही है। मौसम विभाग के मुताबिक तूफान दक्षिणी अरब सागर में पैदा होने के बाद गुजरात तट के करीब पहुंचने तक कई बार रास्ता बदलता रहा और इससे इसकी तीव्रता में उतार-चढ़ाव आता रहा है और अभी इसकी तीव्रता खतरनाक है। बता दे कि गुजरात के प्रभावित 8 जिलों से 75 हजार से ज्यादा लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया गया है। मौसम विभाग द्वारा प्राप्त जानकारी के अनुसार यह अति गंभीर चक्रवाती तूफान है और इसकी वजह से पेड़, छोटे मकान, मिट्टी और टीन के घरों को नुकसान हो सकता है, कच्छ और सौराष्ट्र के लिए रेड अलर्ट जारी किया है और इन इलाकों में तेज हवाओं के साथ भारी बारिश हो रही है। वही गुजरात के साथ महाराष्ट्र और कर्नाटक में भी असर दिखाई दे रहा है और इन इलाकों में NDRF की 33 टीमें तैनात की गई हैं। कोस्ट गार्ड, आर्मी और नेवी की रेस्क्यू और रिलीफ टीमों को स्टैंडबाय पर रखा गया है। इन इलाकों में चक्रवात के गुजर जाने के बाद यातायात और बिजली व्यवस्था बहाल करने के लिए करीब छह सौ टीमें बनाई गई हैं। गुजरात के आठ तटीय जिलों में 75 हजार लोगों लोगों को अस्थायी शिविर में ले जाया गया है। अकेले कच्छ जिले से 34 हजार से ज्यादा लोगों को निकाला गया। इसके बाद जामनगर में 10 हजार, मोरबी में 9,243, राजकोट में 6,089, देवभूमि द्वारका में 5,035, जूनागढ़ में 4,604, पोरबंदर में 3,469 और गिर सोमनाथ जिले में 1,605 लोगों को सुरक्षित स्थान पर पहुंचा दिया गया है। गुजरात के कच्छ जिले में धारा 144 लगा दी गई है। पश्चिम रेलवे ने चक्रवात संभावित क्षेत्रों में 67 ट्रेन रद्द की हैं, 25 के रूट बदले हैं। वही पाकिस्तान में भी चक्रवात बिपरजॉय को लेकर अलर्ट जारी किया गया है। वहां के मौसम विभाग के अनुसार आज सिंध के केटी बंदर से चक्रवात बिपरजॉय टकराएगा। गौरतलब है कि बिपरजॉय पिछले 25 साल में जून महीने में गुजरात के तट से टकराने वाला पहला तूफान होगा। इससे पहले 9 जून 1998 को एक तूफान गुजरात के तट से टकराया था। तब पोरबंदर के पास 166 KMPH की रफ्तार से हवा चली थी। बीते 58 साल की बात करें तो 1965 से 2022 के बीच अरब सागर के ऊपर से 13 चक्रवात उठे। इनमें से दो गुजरात के तट से टकराए। एक महाराष्ट्र, एक पाकिस्तान, तीन ओमान-यमन और छह समुद्र के ऊपर कमजोर पड़ गए।
[highlight color=”black”]बिपरजॉय साइक्लोन से पहले ही पंजाब में दिखने लगा असर[/highlight]
बिपरजॉय साइक्लोन आज गुजरात के तट के साथ टकराएगा, लेकिन इसका असर पंजाब में पहले से ही दिखने लगा है। मौसम विभाग के मुताबिक तूफान बिपरजॉय और वेस्टर्न डिस्टरबेंस के बीच पंजाब में 18 जून तक बारिश के आसार बने हुए हैं, अचानक से बादल छाएंगे, बारिश होगी और अगले ही पल धूप खिलेगी, जिससे उमस बढ़ेगी। मौसम विभाग के अनुसार बीते दिन मालवे के कुछ हिस्सों को छोड़ अधिकतर पूरे पंजाब में बारिश देखने को मिली। अमृतसर में 26 किमी की रफ्तार से हवाएं चलीं। लुधियाना में पेड़ गिरने से एक मोटरसाइकिल सवार की मौत हो गई। अमृतसर में बीते 24 घंटों में 129.5 MM बारिश रिकॉर्ड की गई है, जिसने 30 जून 1970 को हुई 92.6MM बारिश का रिकॉर्ड भी तोड़ दिया है। समान्यता जून महीने में अमृतसर में रोजाना अत्यधिक 38.9MM और पूरे महीने में सामान्य 89.9MM बारिश दर्ज की जाती है। इतना ही नहीं, अमृतसर में ओलावृष्टि भी हुई। बीती शाम से मौसम खराब होने का असर हवाई यातायात पर भी देखने को मिला। कोलकाता, कुआलालम्पुर और दिल्ली से अमृतसर आने वाली कुल 5 फ्लाइटों को रास्ते में ही मोड़ दिल्ली के इंदिरा गांधी एयरपोर्ट पर इमरजेंसी लैंड करवाना पड़ा। तेज हवाओं व बारिश के बीच ATC ने फ्लाइट्स को अमृतसर लैंड होने की अनुमति ही नहीं दी गयी। पंजाब के कई हिस्सों में चली तेज हवाओं से बिजली विभाग का भी काफी नुकसान हुआ है। अमृतसर के जंडियाला गुरु, अजनाला रोड और सरहदी इलाकों के अलावा लुधियाना जिले में तेज हवाओं ने काफी नुकसान पहुंचाया। बिजली की तारें टूटने से कई इलाकों में बीते दिन से लाइट नहीं है। बारिश के कारण पंजाब का औसतन तापमान 2.9 डिग्री और सामान्य से 3.6 डिग्री कम दर्ज किया गया है। लुधियाना में न्यूनतम तापमान बीते दिन से 6.5 डिग्री, अमृतसर में 5.3 डिग्री, मुक्तसर में 3.4 डिग्री, बठिंडा में 3.8 डिग्री और फरीदकोट में बीते दिन के मुकाबले 5.4 डिग्री तक गिरावट आई है। पंजाब में मौसम विभाग ने 18 जून तक बारिश होने के आसार बताए हैं। यह मौसम पूरे पंजाब में बना रहेगा। दरअसल, एक तरफ बिपरजॉय चक्रवात और दूसरी तरफ वेस्टर्न डिस्टरबेंस के कारण पंजाब पर दबाव पैदा हो रहा है। जिस कारण यहां 18 जून तक बादल छाए रहने और बारिश का अनुमान है। इस दौरान पंजाब के तापमान में भी कमी देखने को मिलेगी। आज अधिकतर शहरों का तापमान 36 डिग्री के करीब रहने का अनुमान है। अमृतसर का न्यूनतम तापमान 20.7 डिग्री दर्ज किया गया, जो बीते दिन के मुकाबले 6.5 डिग्री और सामान्य से 5.4 डिग्री कम था और आज तापमान 36 डिग्री से कम बने रहने का अनुमान है। जालंधर शहर का न्यूनतम तापमान 21 डिग्री के करीब दर्ज किया गया, अधिकतम तापमान 36 डिग्री के करीब रहने का अनुमान है और जालंधर में बारिश का मौसम बना रहेगा। लुधियाना का न्यूनतम तापमान 20.2 डिग्री दर्ज किया गया, यह तापमान बीते दिन से 6.5 डिग्री कम था और आज भी तापमान 36 डिग्री के करीब रहने का अनुमान है।