⚫DSP V/s SHO मामलें में दिलचस्प मोड़ ; अब SHO ने DSP के खिलाफ खोला मोर्चा, कहा-आरोप सिद्ध हुए तो दे दूंगा इस्तीफा, DSP की भी हो जांच
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फिरोजपुर ( विशेष संवाददाता) : पंजाब पुलिस के DSP द्वारा अपने ही एसएचओ समेत अन्य 11 पुलिस कर्मियों पर नशा तस्करों व गैंगस्टरों से संबंध रखने पर एसएसपी को शिकायत देकर कार्रवाई की मांग करने के मामले में अब नया मोड़ आ गया है। DSP के उक्त पत्र के जवाब में थाना सदर SHO इंस्पेक्टर अभिनव चौहान ने मोर्चा खोलते हुए कहा है कि यदि DSP बंसल द्वारा उनके ऊपर लगाए गए आरोप साबित हो जाएं तो वह अपने पद से इस्तीफा देने में एक मिनट का समय नहीं लगाएंगे, यही नहीं वह अब तक जहां भी काम किए हैं, वहां पर वह नशा तस्करों के खिलाफ ही रहे हैं।उन्होंने कहा की जिस DSP ने उन पर यह गंभीर आरोप लगाए हैं, उनकी इमेज की भी जांच होनी चाहिए।बता दे की कुछ दिन पहले फिरोजपुर City DSP सुरेंद्र पाल बंसल ने जिले के पुलिस कप्तान को एक पत्र भेजकर थाना सदर के SHO समेत 11 पुलिस कर्मियों पर नशा तस्करों व गैंगस्टरों से संबंध रखने का गंभीर आरोप लगाया था। उक्त पत्र से विभाग में हड़कंप मंच गया था।दिलचस्प बात यह है की अगस्त माह में ही पंजाब पुलिस के डीजीपी गौरव यादव ने फिरोजपुर पहुंचकर पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों की पीठ थपथपाई थी और पंजाब को नशा मुक्त बनाने में और बेहतर कार्य करने की बात कही थी। ऐसे में अब विभाग के DSP बंसल द्वारा अपने अधीनस्थ SHO सहित 11 पुलिसकर्मियों पर नशा तस्करों से साठगांठ रखने का गंभीर आरोप लगाकर विभाग में ही खलबली मचा दी है।डीएसपी के उक्त पत्र के जवाब में थाना सदर एसएचओ इंस्पेक्टर अभिनव चौहान ने कहा की जो अन्य पुलिस कर्मियों के मेरे साथ होने की बात कही जा रही है।उसमें से कई उनके थाने में ही नहीं हैं। SHO ने कहा की DSP बंसल ने उनके ऊपर जो आरोप लगाए हैं, वह किसी रंजिश के चलते लगाए गए हैं।बता दें कि कुछ महीने पहले जब DSP बंसल ने फिरोजपुर सिटी का प्रभार संभाला था तो उन्होंने स्थानीय विधायक की प्रशंसा के पुल बांधे थे व जहां तक कहा था कि वह विधायक की वजह से ही यहां के डीएसपी बने हैं। यही नहीं पिछले दिनों जब सतलुज दरिया में बाढ़ आई थी, उस समय वह विधायक की गाड़ी चलाते हुए दिखाई दिए थे। इसके अलावा वह किसी न किसी कारण से चर्चा में बने रहते हैं। ऐसे में अब जब आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी रहने के साथ घोर अनुशासनहीनता दिखाई दे रही है तो यह देखने वाली बात होगी कि पुलिस के उच्चाधिकारी क्या एक्शन लेते हैं।